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राधा नाम की महिमा

राधा नाम की महिमा
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बाँवरी अपनी ही दुनिया में खोई है। राधा नाम की धुन इसके मन को मोह रही है । राधे राधे राधे राधे राधे .......। जागते ,खाते ,पीते,उठते,बैठते एक ही धुन में मन रम गया । राधे राधे राधे राधे राधे ........। कभी कान्हा जू के कानों में राधा नाम की मधुर ध्वनि पड़ती है । आहा !उनकी प्रिया जू का नाम ही तो उनका जीवन है। कान्हा उस ध्वनि को सुनते हुए उन्मादित हो रहे। राधे राधे राधे राधे राधे .......। जैसे जैसे बाँवरी इस धुन में रमती जा रही वैसे ही कान्हा के हृदय में भी प्रिया जू की प्रेम तरंगे ध्वनित हो रहीं । राधे राधे राधे राधे राधे ......। आहा !यही नाम तो सम्पूर्ण सृष्टि को आनंद देने वाला है।

        राधा नाम ध्वनि चलती रहती है । ये प्रेम रस अब श्यामसुन्दर के हृदय को आंदोलित कर रहा । मोहन प्यारी जू के नाम धुन पर ऐसे मोहित हुए इस धुन पर नृत्य शुरू कर देते हैं। जैसे जैसे राधा नाम धुन चलती वैसे वैसे मोहन के नृत्य की मुद्राएं उनकी भाव भंगिमाएं परिवर्तित हो रही। राधे राधे राधे राधे राधे...........। आहा ! परम् आनन्द हो रहा । सभी जड़ चेतन का जीवन भी अपनी प्रिया जू का नाम है ।

        प्रिया जू के कानों में ये राधा नाम ध्वनित हुआ प्यारी जू उस और आ जाती हैँ ।इधर तो राधा नाम धुन में उन्मादित बाँवरी गा रही है और मोहन उसी धुन पर नाच रहे । प्यारी जू भी मोहन को आनन्दित देख आनन्द से भर रही हैं । मेरे प्रियतम के प्रेम की क्या तुलना होगी । इनको मेरे नाम से ही इतना आनन्द हो रहा है । प्यारी जू और प्रसन्न हो रही हैं । उनकी प्रसन्नता भी बढ़ती रहती है और वो भी राधा नाम धुन पर श्यामसुन्दर के साथ ताल से ताल मिला नाचने लगती है । आहा !राधे राधे राधे राधे राधे......सत्य यही है की राधा नाम लेने वाला जहां स्वयम् आनंद में डूबने लगता वहीं युगल की भी प्रसन्नता पाता है। राधा नाम की महिमा शब्दों में व्यक्त ही नहीं हो सकती । बस गाते रहिये और प्रेम सिंधु में डूबते रहें। राधे राधे राधे राधे राधे.....
    जय जय श्री राधे

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